गाजीपुर। जनपद में मनरेगा मजदूर संघ के जिला अध्यक्ष हरेंद्र यदुवंशी के नेतृत्व में संगठन के पदाधिकारियों ने मंगलवार को मुख्य विकास अधिकारी (सीडीओ) को ज्ञापन सौंपा, जिसमें मनरेगा योजना में व्याप्त भ्रष्टाचार और श्रमिकों के अधिकारों के हनन की शिकायत की गई।
ज्ञापन के माध्यम से संगठन ने मनरेगा अधिनियम के सही क्रियान्वयन और श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा की मांग की है, ताकि उन्हें समय पर रोजगार और उचित पारिश्रमिक मिल सके। इस अवसर पर जिला महासचिव प्रमोद सिंह यादव, जिला कोषाध्यक्ष मोहन श्रमिक, जिला मीडिया प्रभारी धनंजय यादव, रेवतीपुर ब्लॉक प्रभारी मनोज, विजेंद्र, राम ध्यान, मुकर ध्वज, चंपा, सोनी, और सरिता सहित अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।
प्रमुख आरोप:
- काम की मांग पर रसीद न मिलना: श्रमिकों द्वारा रोजगार के लिए आवेदन करने पर संबंधित ग्राम पंचायत अधिकारियों द्वारा पावती रसीद नहीं दी जाती, जबकि मनरेगा अधिनियम के अनुसार यह श्रमिकों का अधिकार है।
- रोजगार प्रदान करने में देरी: आवेदन के बावजूद श्रमिकों को 15 दिन की निर्धारित अवधि में रोजगार नहीं दिया जाता; कई मामलों में महीनों तक इंतजार करना पड़ता है।
- फर्जी मास्टर रोल और अवैध धन उगाही: ग्राम पंचायतों में फर्जी मास्टर रोल जारी कर, फर्जी उपस्थिति दर्ज कर अवैध धन उगाही की जा रही है, जबकि वास्तविक श्रमिकों को काम नहीं मिल रहा।
संगठन की मांगें:
- सीडीओ से एक सप्ताह के भीतर काम के इच्छुक 19 श्रमिकों को मास्टर रोल निर्गत कर कार्यस्थल पर उनकी उपस्थिति सुनिश्चित करने की मांग की गई है।
- सभी निर्गत मास्टर रोल की प्रतियां संगठन को उपलब्ध कराने की अपील की गई है।
- मनरेगा में हो रहे भ्रष्टाचार की जांच कर दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की गई है।