
जमानियां। गंगा दशहरा के पावन अवसर पर गुरुवार को नगर के बलुआ घाट, करपूरा घाट, मुनान घाट‚ साधु घाट सहित अन्य गंगा घाटों पर श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी। मोक्ष की कामना लेकर श्रद्धालुओं ने गंगा में आस्था की डुबकी लगाई और आसपास के मंदिरों में पूजा-अर्चना कर पुण्य अर्जित किया। पर्व को लेकर घाटों पर उत्सवी माहौल बना रहा।
पंडित उद्धव पांडेय ने बताया कि गंगा दशहरा ज्येष्ठ माह की शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन गंगा स्नान तथा दस प्रकार के दानों का विशेष महत्व होता है। उन्होंने बताया कि इस दिन गंगाजल से स्नान या गंगाजल को जल में मिलाकर स्नान करने से अमृत तुल्य पुण्य फल की प्राप्ति होती है। साथ ही, पितरों के तर्पण से उनकी आत्मा को शांति और परिवार को सुख-समृद्धि का आशीर्वाद प्राप्त होता है। नगर के प्राचीन पक्का घाट सहित सभी प्रमुख घाटों पर गंगा दशहरा को लेकर प्रशासन पूरी तरह सतर्क रहा। साफ-सफाई अभियान के साथ घाटों पर बैरिकेडिंग और चेंजिंग रूम की व्यवस्था की गई थी। महिला श्रद्धालुओं को कपड़े बदलने में असुविधा न हो, इसके लिए अस्थायी चेंजिंग रूम बनाए गए, जिससे श्रद्धालुओं को सहूलियत मिली। सुरक्षा की दृष्टी से पुलिस बल की तैनाती की गई थी। वही गंगा घाटों पर तहसीलदार राम नारायण वर्मा और अन्य प्रशासनिक अधिकारी भी भ्रमण कर व्यवस्थाओं का जायजा लेते दिखाई दिए। गंगा दशहरा के इस पावन पर्व पर नगर के श्रद्धालुओं में विशेष उत्साह देखने को मिला। सुबह से ही घाटों पर स्नान के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ लगी रहीं। लोगों ने गंगाजल से तर्पण कर अपने पूर्वजों को श्रद्धांजलि दी और मां गंगा से सुख-शांति की प्रार्थना की। महिलाएं, बच्चे, बुजुर्ग सहित नगरवासियों ने गंगा स्नान कर इस पुण्य तिथि का लाभ उठाया।